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केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) | सीसीपीए ने ओला, उबर को नोटिस जारी किया

केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सेंट्रल कंज्यूमर प्रोटेक्शन अथॉरिटी/सीसीपीए) – यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता

  • जीएस पेपर 2: शासन, प्रशासन एवं चुनौतियां– विभिन्न क्षेत्रों में विकास के लिए सरकारी नीतियां एवं अंतः क्षेप तथा उनकी अभिकल्पना एवं कार्यान्वयन से उत्पन्न होने वाले मुद्दे।

केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (CCPA) चर्चा में

  • हाल ही में, केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (CCPA) ने अनुचित व्यापार पद्धतियों एवं उपभोक्ता अधिकारों के उल्लंघन के लिए दो ऑनलाइन राइड हेलिंग प्लेटफॉर्म ओला  तथा उबर को नोटिस जारी किया है।
  • राष्ट्रीय उपभोक्ता हेल्पलाइन (नेशनल कंज्यूमर हेल्पलाइन/एनसीएच) के आंकड़ों के अनुसार, 01.04.2021 से 01.05.2022 तक, उपभोक्ताओं द्वारा ओला के विरुद्ध 2,482 शिकायतें दर्ज की गईं एवं उबर के विरुद्ध 770 शिकायतें दर्ज की गईं।

 

ओला, उबर के साथ जुड़े मुद्दे

सीसीपीए के नोटिस में उठाए गए प्राथमिक मुद्दों में सम्मिलित हैं: –

  • सेवा में कमी जिसमें शामिल हैं-
    • ग्राहक सहायता सेवा से उचित प्रतिक्रिया का अभाव,
    • ड्राइवर ऑनलाइन मोड द्वारा भुगतान लेने से इंकार कर रहा है एवं केवल नकद भुगतान के लिए जोर दे रहा है,
    • पहले एक ही मार्ग पर कम शुल्क पर जाने के बावजूद अधिक शुल्क लिया गया,
    • चालक का अव्यवसायिक व्यवहार तथा
    • जब उपभोक्ता को ऐप पर एयर कंडीशनर की सवारी का वादा किया जाता है तो ड्राइवर एयर कंडीशनर चालू करने से इंकार कर देता है।
  • ग्राहक सेवा संख्या एवं शिकायत अधिकारी के विवरण दोनों के अभाव में अपर्याप्त उपभोक्ता शिकायत निवारण तंत्र, जैसा कि प्लेटफॉर्म पर उल्लेख किया जाना आवश्यक है।
  • रद्दीकरण शुल्क की अनुचित वसूली जिसमें उपयोगकर्ताओं को वह समय नहीं दिखाया जाता है जिसके भीतर एक सवारी को रद्द करने की अनुमति है।
  • दो व्यक्तियों से एक ही मार्ग के लिए अलग-अलग किराए वसूलने के लिए कंपनी द्वारा उपयोग किए जाने वाले एल्गोरिदम या पद्धति के बारे में किसी भी जानकारी का अभाव। *
  • प्रत्येक सवारी से पहले स्पष्ट एवं सकारात्मक कार्रवाई द्वारा सहमति प्राप्त किए बिना ऐड-ऑन सेवाओं को शामिल करने के लिए पूर्व-चिह्नित बक्सों द्वारा ऐड-ऑन सेवाओं के लिए शुल्क शामिल करना।

केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए)

  • केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) के बारे में: उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 की धारा 10(1) के तहत केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) का गठन किया गया है।
    • उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 20 जुलाई, 2020 से प्रवर्तन में आया है। जैसा कि अधिनियम की धारा 10 में प्रावधान किया गया है, केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) की स्थापना 1.4.2015 से की गई है।
  • उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 2019 के बारे में: अधिनियम ने उपभोक्ता संरक्षण अधिनियम, 1986 को प्रतिस्थापित किया एवं उपभोक्ता की चिंताओं का समाधान करने हेतु इसके दायरे को व्यापक बनाने का प्रयास किया।
    • नवीन अधिनियम ऐसे अपराधों की पहचान करता है जैसे किसी वस्तु या सेवा की गुणवत्ता या मात्रा के बारे में गलत जानकारी देना तथा भ्रामक विज्ञापन देना।
    • यह ये भी निर्दिष्ट करता है कि यदि वस्तुएं तथा सेवाएं “खतरनाक, जोखिम पूर्ण अथवा असुरक्षित” पाई जाती हैं, तो ऐसा करने वालों पर कार्रवाई की जाएगी।
  • अधिदेश: CCPA का उद्देश्य अनुचित व्यापार पद्धतियों तथा झूठे एवं भ्रामक विज्ञापनों पर कठोर कार्रवाई कर उपभोक्ता के अधिकारों की रक्षा करना है जो जनता  एवं उपभोक्ताओं के हितों के लिए हानिकारक हैं।
    • केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) का उद्देश्य एक वर्ग के रूप में उपभोक्ताओं के अधिकारों को बढ़ावा देना, उनकी रक्षा करना तथा उन्हें लागू करना है।
  • शक्तियां: सीसीपीए के पास उपभोक्ता अधिकारों या अनुचित व्यापार पद्धतियों के उल्लंघन से संबंधित मामलों की, या प्राप्त शिकायत पर, या केंद्र सरकार के निर्देश पर जांच अथवा अन्वेषण करने की शक्तियां होंगी।
  • मुख्य कार्य: केंद्रीय उपभोक्ता संरक्षण प्राधिकरण (सीसीपीए) को  निम्नलिखित हेतु अधिकार प्रदान किया जाएगा-
    • उपभोक्ता अधिकारों के उल्लंघन की जांच करना एवं शिकायत/अभियोजन स्थापित करना,
    • असुरक्षित वस्तुओं तथा सेवाओं को वापस बुलाने का आदेश,
    • अनुचित व्यापार पद्धतियों एवं भ्रामक विज्ञापनों को बंद करने का आदेश,
    • भ्रामक विज्ञापनों के निर्माताओं/प्रदर्शकों/प्रकाशकों पर दंड लगाना।

 

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