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62वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी- यूपीएससी परीक्षा के लिए प्रासंगिकता
- जीएस पेपर 1: भारतीय इतिहास- भारतीय संस्कृति प्राचीन से आधुनिक काल तक कला रूपों, साहित्य एवं वास्तुकला के प्रमुख पहलुओं को सम्मिलित करेगी।

समाचारों में 62वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी
- हाल ही में, केंद्रीय संस्कृति मंत्री ने एल के ए गैलरी में कला की 62वीं राष्ट्रीय प्रदर्शनी एवं नई दिल्ली के कमानी सभागार में एसएनए पुरस्कार विजेता प्रदर्शन महोत्सव का उद्घाटन किया।
- अकादमी पुरस्कार विजेताओं को प्रदर्शित करने वाला प्रदर्शन कला उत्सव ग्यारह दिनों की अवधि तक जारी रहेगा।
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62वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी
- 62वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी दर्शकों के लिए निम्नलिखित में से प्रदर्शनों की एक मनोरम श्रृंखला लेकर आएगी-
- देश के कोने-कोने में से तथा
- संगीत, नृत्य, नाटक, लोक एवं जनजातीय एवं संबद्ध कला तथा कठपुतली जैसी शैलियों की एक विस्तृत श्रृंखला में से।
- 62वीं राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी हमारे समय की जीवंतता एवं संस्कृति मंत्रालय के सहयोग से ललित कला अकादमी द्वारा पेश किए गए अवसरों को प्रदर्शित करती है।
- आजादी का अमृत महोत्सव के विचार का उत्सव मनाने के लिए, ललित कला अकादमी ने जनभागीदारी के शीर्षक के तहत वॉल स्ट्रीट आर्ट लाने का निर्णय लिया है, जहां आम लोगों की भागीदारी इसे आकार देने में एक अभिन्न अंग है।
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कला की राष्ट्रीय प्रदर्शनी क्या है?
- राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी के बारे में: राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी ललित कला अकादमी का सर्वाधिक प्रतिष्ठित वार्षिक आयोजन है।
- राष्ट्रीय कला प्रदर्शनी समस्त चयनित प्रतिभागियों एवं पुरस्कार विजेताओं की प्रतिभा को प्रदर्शित करने के निमित्त है।
- 1955 में प्रारंभ हुई, कला की राष्ट्रीय प्रदर्शनी वर्ष में दृश्य अग्रिमों को प्रदर्शित करने एवं उनका प्रतिनिधित्व करने हेतु निर्देशित है।
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आजादी का अमृत महोत्सव- प्रमुख बिंदु
- आजादी का अमृत महोत्सव के बारे में: आजादी का अमृत महोत्सव प्रगतिशील भारत के 75 वन एवं इसके लोगों, संस्कृति तथा उपलब्धियों के गौरवशाली इतिहास का उत्सव मनाने तथा स्मरण करने की एक पहल है।
- आजादी का अमृत महोत्सव भारत की सामाजिक-सांस्कृतिक, राजनीतिक एवं आर्थिक पहचान के बारे में प्रगतिशील है।
- भारत के लोगों का उत्सव: आजादी का अमृत महोत्सव भारत के उन लोगों को समर्पित है, जिन्होंने भारत को उसकी विकास यात्रा में यहां तक लाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाई है।
- भारत के लोग भी अपने भीतर शक्ति एवं क्षमता रखते हैं, जो भारत 2.0 को सक्रिय करने के प्रधानमंत्री के दृष्टिकोण को सक्षम बनाता है, जो आत्मनिर्भर भारत की भावना से प्रेरित है।
- आज़ादी का अमृत महोत्सव का प्रारंभ: “आज़ादी का अमृत महोत्सव” की आधिकारिक यात्रा 12 मार्च 2021 को आरंभ हुई, जो हमारी स्वतंत्रता की 75वीं वर्षगांठ के लिए 75-सप्ताह की उलटी गिनती शुरू करती है।



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