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शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – पृष्ठभूमि, सदस्य राज्य एवं भारत की संबद्धता

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – यूपीएससी परीक्षा हेतु प्रासंगिकता

  • जीएस पेपर 2: अंतर्राष्ट्रीय संबंध- महत्वपूर्ण अंतर्राष्ट्रीय संस्थान, अभिकरण एवं मंच- उनकी संरचना, अधिदेश।

 

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – संदर्भ

  • शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के सदस्य देशों के महा अभियोजकों (प्रॉसिक्यूटर जनरल) की 19वीं बैठक 29 अक्टूबर, 2021 को भारत के महाधिवक्ता(सॉलिसिटर जनरल) द्वारा आयोजित की जाएगी।

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – पृष्ठभूमि, सदस्य राज्य एवं भारत की संबद्धता_3.1

 

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – एससीओ की बैठक कार्य सूची 

  • सदस्य राज्य निम्नलिखित विषयों पर विचार करेंगे-
    • विशेष रूप से महिलाओं एवं बालकों के दुर्व्यापार के बढ़ते खतरे को रोकने एवं उसका मुकाबला करने में सहयोग को सुदृढ़ करना;
    • कानूनों के क्षेत्र में सूचना एवं सर्वोत्तम प्रथाओं का आदान-प्रदान;
    • एससीओ सदस्य देशों के शैक्षिक प्रशिक्षण संस्थानों एवं दुर्व्यापार (तस्करी) विरोधी निकायों के मध्य सहयोग।

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शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ)- प्रमुख बिंदु

  • एससीओ के बारे में: शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) 2002 में, एससीओ चार्टर के माध्यम से निर्मित किया गया एक स्थायी अंतर सरकारी अंतरराष्ट्रीय संगठन है जो 2003 में प्रवर्तन में आया।
    • शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) ने पूर्व में स्थापित शंघाई फाइव मैकेनिज्म का स्थान लिया।
    • प्रकृति: शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) एक यूरेशियन राजनीतिक, आर्थिक एवं सैन्य संगठन है।
    • एससीओ का सचिवालय: शंघाई, चीन।
    • क्षेत्रीय आतंकवाद विरोधी संरचना (आरएटीएस) की कार्यकारी समिति: ताशकंद
  • अधिदेश: शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) का उद्देश्य क्षेत्र में शांति, सुरक्षा एवं स्थिरता बनाए रखना है।

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शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – एससीओ के साथ भारत का सहयोग

  • पर्यवेक्षक राज्य: भारत को 2005 में एक पर्यवेक्षक राज्य बनाया गया था एवं आम तौर पर एससीओ समूह की अंतर-मंत्रालयी बैठकों में भाग लेता था।
  • सदस्य राज्य: पाकिस्तान के साथ भारत को 2017 में शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के सदस्य राज्य में उन्नयन (अपग्रेड) किया गया था।

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शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – सदस्य राज्य

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) में नौ सदस्य देश सम्मिलित हैं (हाल ही में, ईरान को नौवें पूर्ण सदस्य के रूप में स्वीकार किया गया है) अर्थात्-

  1. भारत गणराज्य,
  2. कजाकिस्तान गणराज्य,
  3. पीपुल्स रिपब्लिक ऑफ चाइना,
  4. किर्गिज गणराज्य,
  5. पाकिस्तान का इस्लामी गणराज्य,
  6. रूसी संघ,
  7. ताजिकिस्तान गणराज्य, एवं
  8. उज़्बेकिस्तान गणराज्य
  9. ईरान

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शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – पर्यवेक्षक राज्य

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) चार पर्यवेक्षक राज्यों को मान्यता प्रदान करता है, अर्थात्-

  1. अफगानिस्तान इस्लामी गणराज्य,
  2. बेलारूस गणराज्य,
  3. ईरान के इस्लामी गणराज्य एवं
  4. मंगोलिया।

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) –

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के छह वार्ता भागीदार हैं, अर्थात्-

  1. अज़रबैजान गणराज्य,
  2. आर्मेनिया गणराज्य,
  3. कंबोडिया साम्राज्य,
  4. नेपाल के संघीय लोकतांत्रिक गणराज्य,
  5. तुर्की गणराज्य, एवं
  6. श्रीलंका का लोकतांत्रिक समाजवादी गणराज्य।

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ)- प्रमुख लक्ष्य

  • सदस्य देशों के मध्य पारस्परिक विश्वास एवं मिलनसारिता को सुदृढ़ करना;
  • राजनीति, व्यापार, अर्थव्यवस्था, अनुसंधान, प्रौद्योगिकी एवं संस्कृति के साथ-साथ शिक्षा, ऊर्जा, परिवहन, पर्यटन, पर्यावरण संरक्षण एवं अन्य क्षेत्रों में उनके प्रभावी सहयोग को बढ़ावा देना;
  • क्षेत्र में शांति, सुरक्षा एवं स्थिरता बनाए रखने तथा इन्हें सुनिश्चित करने के लिए संयुक्त प्रयास करना; तथा
  • एक लोकतांत्रिक, निष्पक्ष एवं तर्कसंगत नवीन अंतर्राष्ट्रीय राजनीतिक एवं आर्थिक व्यवस्था की स्थापना की ओर अग्रसर होना।

 

शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) – पृष्ठभूमि, सदस्य राज्य एवं भारत की संबद्धता_3.1

 

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