
हिंदी भाषा TET परीक्षा का एक महत्वपूर्ण भाग है इस भाग को लेकर परेशान होने की जरुरत नहीं है .बस आपको जरुरत है तो बस एकाग्रता की. ये खंड न सिर्फ CTET Exam (परीक्षा) में एहम भूमिका निभाता है अपितु दूसरी परीक्षाओं जैसे UPTET, KVS,NVS DSSSB आदि में भी रहता है, तो इस खंड में आपकी पकड़, आपकी सफलता में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हो सकती है.TEACHERS ADDA आपके इस चुनौतीपूर्ण सफ़र में हर कदम पर आपके साथ है।
निर्देश (प्र. सं. 1 – 8) निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर नीचे दिए गए प्रश्नों के लिए सबसे उचित विकल्प का चयन कीजिए।
जिनमें सहिष्णुता की भावना होती है, केवल ऐसे लोग ही अध्यापक होने योग्य होते हैं। जिनका बच्चों से प्यार भरा लगाव होता है, उनमें धैर्य स्वभावतः आ जाता है। अध्यापकों को जिस अन्तर्निहित गम्भीर समस्या से जूझना पड़ता है, वह यह है कि उन्हें जिनको देखना है वे शक्ति और प्रभुता में उनकी बराबरी के नहीं होते। अध्यापक के लिए एकदम तुच्छ या बिना किसी कारण के या फिर वास्तविक की बजाय किसी काल्पनिक कारण के चलते अपने छात्रों के सामने धैर्य खो देना, उनकी खिल्ली उड़ाना, उन्हें अपमानित या दण्डित करना एकदम आसान और सम्भव है। जो एक निर्बल अधीन राष्ट्र पर शासन करते हैं, उनमें न चाहते हुए भी गलत काम करने की प्रवृत्ति पाई जाती है। उसी तरह ऐसे अध्यापक होते हैं जो बच्चों के ऊपर अपने प्रभुत्व का शिकार हो जाते हैं। जो शासन के अयोग्य होते हैं, उन्हें न केवल कमजोर लोगों पर अन्याय करते हुए कोई अपराध-बोध नहीं होता, बल्कि ऐसा करने में उन्हें एक खास तरह का मजा मिलता है। बच्चे अपनी माँ की गोद में कमजोर, असहाय और अज्ञानी होते हैं। माता के हृदय में स्थित प्रचुर प्यार ही उनकी रक्षा की एकमात्र गारण्टी होता है। इसके बावजूद हमारे घरों में इस बात के उदाहरण कम नहीं कि कैसे हमारे स्वाभाविक प्यापर पर धीरज का अभाव और उद्धत प्राधिकार विजय प्राप्त कर लेते हैं और बच्चों को अनुचित कारणों से दण्डित होना पड़ता है।
Q1. किस तरह के लोग कमजोर लोगों पर अन्याय करते हैं ?
(a) जो निर्बल होते है
(b) जो अध्यापक होते है
(c) जिनमें शासन करने की योग्यता नहीं होती
(d) जो दण्ड देने में कुशल हैं
Q2. इस गद्यांश का मुख्य भाव यह है कि
(a) अध्यापक मे धैर्य, ममत्व, सहिष्णुता और तार्किकता होनी चाहिए
(b) अध्यापक को सदा निर्लिप्त भाव से पेश आना चाहिए
(c) केवल उचित कारणों पर ही अध्यापक बच्चों को अवश्य दण्ड दें
(d) अध्यापक में अपराध-बोध होना चाहिए
Q3. बच्चे अपनी माँ की गोद में ही स्वयं को सुरक्षित समझते हैं, क्योंकि
(a) माँ सदैव उनकी गलतियाँ माफ करती रहती है
(b) केवल माँ ही उनका लालन-पालन करती रहती है
(c) माँ के पास सुरक्षा की शक्ति परिपूर्ण है
(d) माँ के हृदय में स्नेह होता है
Q4. कौन-सा शब्द समूह शेष शब्द समूहो से भिन्न है ?
(a) अयोग्य, अज्ञानी, अभाव
(b) अन्याय, अपराध, अपमानित
(c) अभाव, अपमानित, अधीन
(d) असहाय, अपराध, अनुचित
Q5. ‘इत’ प्रत्यय से बनने वाला शब्द है
(a) नीत
(b) दण्डित
(c) अनुचित
(d) कृत
Q6. अध्यापक के लिए उचित विशेषण शब्द है
(a) धैर्य
(b) सहिष्णु
(c) ज्ञान
(d) योग्यता
Q7. लेखक के अनुसार अध्यापक बनने योग्य वही होते हैं, जो
(a) अत्यन्त ज्ञानवान, होते हैं
(b) उच्च डिग्री प्राप्त होते हैं
(c) धैर्यवान होते हैं
(d) बच्चों से बहुत ज्यादा शक्तिशाली होते हैं
Q8. विद्यालयों में बच्चों को बिना किसी कारण दण्डित करना
(a) असम्भव है
(b) अध्यापक की धैर्यहीनता का चिह्न है
(c) अध्यापकीय प्रवृत्ति है
(d) दुर्लभ है
निर्देश (प्र. सं. 9 – 10) निम्नलिखित गद्यांश को पढ़कर दिए गए प्रश्नों के लिए उचित विकल्प का चयन कीजिए।
यदि हम सुनने के साथ-साथ सुनाते भी अर्थात् वार्तालाप भी करते हैं तो बातें याद रहने की सम्भावना काफी अधिक रहती है। इसलिए भाषण तो हमें याद नहीं रहते, परन्तु वार्तालाप हम भूलते नहीं हैं। सुनने के लिए पुराना भूलना भी जरूरी है। बृद्धि के पास वह शक्ति है जिससे वह सुनी हुई बातों का सार निकालकर बाकी विस्तार को भूला देती है, तभी हम नई सुन सकते दो कान इसलिए हैं कि सुनने को इतना कुछ है कि एक काम पड़ता हैं प्रकृति ने हमें मुख एक ही दिया है इसलिए कि सुनो ज्याद, बोलो कम। सामने वाले की बात ध्यान से सुनना एक प्रकार की गतिविधि है। सुनने की कला आज दुर्लभ होती जा रही है। शोध बताते हैं कि हम जितना सुनते हैं, उसका मात्र 20% ही हमें याद रहता । सुनी बातों में से तीन दिन बाद केवल 10% ही याद रहता है। इसके अलावा सुनने और समझने के बीच हमारा पूर्वाग्रह, पूर्व जानकारी, पूर्व अर्जित ज्ञान भी प्रभाव डालता है।
Q9. भाषण और वार्तालाप में क्या अन्तर है ?
(a) भाषाण में हम बोलते हैं, वार्तालाप में सुनते हैं
(b) भाषण रोचक नहीं होता, वार्तालाप रोचक होता है
(c) भाषण मं केवल बोलना होता है, वार्तालाप में सुनना और बोलना दोनों होते हैं
(d) भाषण लम्बा होता है, वार्तालाप संक्षिप्त होता है
Q10. सुनकर समझने को कौन-सा तत्त्व प्रभावित करता है
(a) पूर्वाग्रह
(b) पूर्व जानकारी
(c) पूर्व अर्जित ज्ञान
(d) ये सभी
Solutions
S1. Ans.(c)
Sol. जिनमें शासन करने की योग्यता नहीं होती, वे कमजोर लोगों पर अन्याय करते हैं।
S2. Ans.(a)
Sol. गद्यांश का मूल भाव यह है कि, अध्यापक में धैर्य, ममत्व, सहिष्णुता और तार्किकता होनी चाहिए।
S3. Ans.(d)
Sol. बच्चे अपनी माँ की गोद में ही स्वयं को सुरक्षित इसलिए समझते हैं, क्योंकि माँ के हृदय में स्नेह भाव होता है।
S4. Ans.(a)
Sol. अयोग्य, अज्ञानी तथा अभाव तीनों शब्दों में उपसर्ग एक समान अर्थात् (अ) का प्रयोग हुआ है, जो अन्य विकल्पों के शब्दों से भिन्न है।
S5. Ans.(b)
Sol. इत प्रत्यय से बना शब्द है-
दण्ड + इत् = दण्डित
S6. Ans.(b)
Sol. अध्यापक के लिए उचित विशेषण है- सहिष्णु
S7. Ans.(c)
Sol. अध्यापक बनने योग्य वही हो सकते हैं, जो धैर्यवान होते हैं, क्योंकि इन्हें उन बच्चों को देखना होता है जो उनकी शक्ति व प्रभुता के समान नहीं होते।
S8. Ans.(b)
Sol. विद्यालय में बच्चों को बिना किसी कारण के दण्डित करना अध्यापक की धैर्यहीनता को दर्शाता है।
S9. Ans.(c)
Sol. भाषण और वार्तालाप में अन्तर यह है कि भाषण में केवल बोलना होता है, जबकि वार्तालाप में बोलना और सुनना दोनों निहित होते हैं।
S10. Ans.(d)
Sol. सुनकर समझने को पूर्वाग्रह, पूर्व जानकरी तथा पूर्व अर्जित ज्ञान प्रभावित करते हैं।